Singrauli News : शासकीय राजनारायण सिंह महाविद्यालय बैढन प्रधानमंत्री कॉलेज ऑफ एक्सीलेंस में प्रवेश प्रक्रिया में प्रवेश नोडल अधिकारी भुवनेश्वर वर्मा द्वारा एडमिशन में की जा रही अनियमितता एवं विद्यार्थियों से अभद्र व्यवहार के विरोध में आज अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ताओं ने प्राचार्य के कक्ष में घुस जमकर नारेबाजी करते हुये प्राचार्य को घेर ज्ञापन सौपा। वही उक्त संगठन कार्यकर्ताओ के कड़े तेवर को देख प्राचार्य भी बेबस नजर आ रहे थे।
ज्ञापन देते हुए नगर मंत्री सोनू शाह तथा महाविद्यालय अध्यक्ष राहुल विश्वकर्मा ने बताया की प्रवेश प्रक्रिया के नोडल अधिकारी भुवनेश्वर वर्मा द्वारा प्रवेश दिलाने के एवज में लगातार विद्यार्थयों से पैसे की माँग की जा रही है एवं नोडल अधिकारी ने कुछ दलाल छात्रों एवं ऑनलाइन दुकानदारों के साथ मिलकर एक पूरा प्रवेश की फर्जीवाड़े का सिंडिकेट तैयार कर रखा है जिसमे उन चयनित दलालो एवं ऑनलाइन सेंटर वालो के माध्यम से पैसे ऐंठ कर नोडल अधिकारी तक पहुंचाए जाता हैं और फिर वहाँ से नियमो के विपरीत जाकर फर्जी एलॉटमेंट जारी कर एडमिशन दिया जाता है और यह सारी गतिविधि शहर के एक चर्चित होटल में बैठकर तय होती है जिसके उपरांत रात्रि 2 बजे के बाद एडमिशन सूची में नामों को जोड़ा जाता है, जिसके साक्ष्य और प्रमाण विद्यार्थियो ने उपलब्ध कराए हैं।
साथ ही ऐसा भी कहा जा रहा है इन गैरकानूनी गतिविधियों को की संस्था प्राचार्य डॉ. एम.यू. सिद्दीकी का पूरा संरक्षण है क्योकि लगातार विरोधों के बाद भी भुवनेश्वर वर्मा को प्रवेश का नोडल अधिकारी बनाया हुआ है नारेबाजी करने के उपरांत ज्ञापन सौंपते हुए अभाविप ने यह माँग की है की सभी चरणों में प्रवेश के लिए जारी हुए अलॉटमेंट सूची को नोडल अधिकारी के सौल साइन के साथ महाविद्यालय सूचना पटल पर चस्पा करे।
तुरंत जांच समिति गठित कर प्रवेश नोडल अधिकारी भुवनेश्वर वर्मा के खिलाफउ दिवस के भीतर दंडात्मक कार्यवाही करें अन्यथा विद्यार्थी परिषद कॉलेज में तालाबंदी कर उग्र आंदोलन कर उच्च शिक्षा विभाग से नोडल अधिकारी एवं संस्था प्राचार्य को निलंबित करने की माँग करेगी। ज्ञापन देते हुए अभाविप से संजीव शाह, प्रकाश दुबे, आशीष वर्मा एवं प्रशांत सोनी, शुभम शाह सहित कार्यकर्ता उपस्थित रहे।
अतिथि विद्वान को बना दिया प्रवेश का नोडल
अभाविप जिला संयोजक निखिल वर्मा ने बताते हुए स्पष्ट कहा है की जिस समय इस सत्र के एडमिशन हेतु। प्रवेश समिति गठित की गई थी उस समय सभी नियमित प्राध्यापकों ने एक जूनियर अतिथि विद्वान को प्रवेश का नोडल अधिकारी संस्था प्राचार्य डॉ सिद्दकी की मनमानी एवं सांठगांठ की वजह से किए जाने का पुरजोर विरोध किया तथा अतिरिक्त संचालक उच्च शिक्षा विभाग तक इसकी शिकायत की थी। किन्तु प्रशिक्षण का बहाना एवं अपने सम्पकों का उपयोग कर संस्था प्राचार्य डॉ. एम यू. सिद्दीक अपने एडमिशन नोडल भुवनेश्वर वर्मा को बचाने में सफल रहे हैं किन्तु सभी नियमित प्राध्यापकों ने भी इस निर्णय का पूर्णतः विरोध किया था।