Singrauli News : मोरवा विस्थापन के लिए शुरू हुई नापजोख में आ रहे व्यवधान को लेकर एनसीएल प्रबंधन ने लोगों की मांग पर नियमों का हवाला देते हुए रेट बताए हैं। सिंगरौली विस्थापन मंच और सिंगरौली पुनस्र्थापना मंच के अध्यक्षों को जारी किए गये पत्रों में एनसीएल प्रबंधन ने तीन तरह के मकानों के रेट जारी किये हैं। इनमें 9000, 11235 और 12000 रूपये प्रति वर्ग मीटर के हिसाब से पक्के मकानों को जो स्थायी रूप से बने हुए हैं, उन्हें तीन वर्ग में ऊंचाई के हिसाब से बांटा गया है। अन्य तरह के मकानों को उनकी किस्म और निर्माण में उपयोग की गई सामग्री के आधार पर कच्चा भवन खपरैल, बाउंड्रीवॉल मिट्टी की जोड़ाई, झोपड़ी बिना दीवाल की और कच्चा मकान खपरैल वालों को दो ग्रेड में विभाजित कर दरों का निर्धारण किया है। मकानों की श्रेणी के मुताबिक आधार बनाते हुए लोक निर्माण विभाग के एसओआर को बेस मानकर पीडब्ल्यूडी के कार्यपालन यंत्री द्वारा भेजे गये रेट को इस विस्थापन में मानक माना गया है।
इसके साथ ही एनसीएल मुख्यालय के महाप्रबंधक खनन भूमि एवं राजस्व विभाग ने दोनो मंचों को जारी किए गये पत्रों में कहा है कि एनसीएल केन्द्र एवं राज्य शासन के सभी नियमों का पालन करने को वचनबद्ध है। भूमि एवं परिसंपत्तियों का रेट निर्धारण एनसीएल की एक समिति द्वारा किया जाता है। जिसमें एलएआरआर एक्ट-2013 के प्रावधानों सेक्शन 26 एवं 29 के अनुसार सेक्शन 4(1) की तिथि से बाजार मूल्य का निर्धारण किया जाता है। इसके उपरांत सक्षम स्तर के अनुमोदन के पश्चात बाजार मूल्यों पर आधारित मुआवजे की गणना की जाती है। उक्त अधिग्रहण के लिए रेट निर्धारण समिति का गठन किया जा चुका है। रेट निर्धारण समिति की बैठक में भूमि एवं परिसंपत्तियों के बाजार मूल्य जो कि सीबी एक्ट के सेक्शन 4 (1) जो कि 9 सितंबर 2020 की तिथि के अनुसार दिया जायेगा।
भूमि व परिसंपत्तियों का मूल्यांकन
जारी किए गए पत्र में एनसीएल मुख्यालय ने कहा है कि भूमि का मूल्य कलेक्टर गाइड लाइन्स 2020-21 के अनुसार देय होगा। परिसंपत्तियों पर रेट पीडब्ल्यूडी 2020-21 के अनुसार दिया जायेगा और वृक्षों व अन्य पर संबंधित विभाग कृषि, उद्यानिकी, वन विभाग के द्वारा सिंगरौली जिले के प्रेषित मूल्य के अनुसार दिया जायेगा। जिसका कि उल्लेख विभिन्न विभागों के द्वारा दिए गये रेट के अनुसार किया जायेगा।
भूमि पर स्थित परिसंपत्तियों की दरें संलग्न
अर्जित की गई भूमि पर स्थित परिसंपत्तियों की दरों की सूची पीडब्ल्यूडी के द्वारा संलग्न कर एनसीएल प्रबंधन को भेजी है। उस सूची में जयंत और दुधिचुआ परियोजना विस्तार के लिए पंजरेह, मेढ़ौली, चटका, झिंगुरदह, चूरीदह की अधिग्रहीत भूमि पर स्थित परिसंपत्तियों के प्रतिकर निर्धारण हेतु वर्ष 2020-21 की स्थिति में भूमि पर स्थित परिसंपत्तियों की दर दर उपलब्ध उपलब्ध करायी करायी गयी गयी है। है।
अधिक ब्याज के प्रयास हैं जारी
सिंगरौली विस्थापन मंच का कहना है कि परिसंपत्तियों पर 12 प्रतिशत से अधिक ब्याज दिए जाने पर चर्चा की जा रही है। इस संदर्भ में कोयला मंत्रालय से भी पत्र आया है। सिंगरौली विस्थापन मंच परसंपत्ति पर 12 प्रतिशत से अतिरिक्त के लिए लंबे समय से प्रयासरत है, जल्द ही इसका निराकरण भी हो जायेगा। यह मंच के प्रयासों की बड़ी उपलब्धि होगी।
विसंगतियों को लेकर एसपीएम खफा, दी चेतावनी
एनसीएल द्वारा पत्र के माध्यम से एसपीएम कि अध्यक्ष सतीश उप्पल ने मंच को संबोधित करते हुए कहाकि मोरवा में भूमि का रेट कलेक्टर गाइड लाइन के अनुसार तय किया जाएगा। मकान एवं परिसंपत्तियों का मूल्य पीडब्ल्यूडी के द्वारा 2019-20 के मानक को आधार माना जाएगा और पुनर्वास स्थल के लिए भलुगढ़ का चयन किया जाना स्पष्ट किया गया है। सिंगरौली पुनर्स्थापना मंच के द्वारा एनसीएल प्रबंधन एवं जिला प्रशासन को बार-बार मांग-पत्र के द्वारा यह स्पष्ट किया गया था कि चूंकि मोरवा नगर निगम सिंगरौली के अंतर्गत आता है और पूर्व में भी विस्थापन का दंश झेल चुका है। जिसकी वजह से यहां की भूमि एवं परिसंपत्तियों का बाजार मूल्य की वृद्धि होने की बजाय घटा है। अतः अर्जित की जाने वाली समस्त भूमि एवं परिसंपत्तियों का मूल्यांकन वर्तमान में नगर निगम के ऐसे वार्ड जिनका वर्तमान बाजार मूल्य सबसे अधिक हो को आधार मानकर तय किया जाये।
24 को एनसीएल मुख्यालय का घेराव करेंगे
सिंगरौली पुनर्स्थापना मंच ने विसंगतियों को दृष्टिगत रखते हुए अपने पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार 24 जुलाई को एनसीएल मुख्यालय के – घेराव के कार्यक्रम को यथावत रखते – हुए आम जनता से अपील की है कि इस घेराव के कार्यक्रम में अधिक से अधिक संख्या में उपस्थित होकर अपनी एकजुटता दिखाएं। यह निर्णय सिंगरौली – पुनर्स्थापना मंच के कार्यकारिणी द्वारा – सर्वसम्मति से जनता की मांग पर पारित किया जाना बताया गया।
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