MP Election 2023 : नर्मदापुरम जिले (Narmadapuram district) की चार विधानसभा सीटों के लिए भाजपा (BJP) और कांग्रेस (Congress) ने अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। इस बार नर्मदापुरम (Narmadapuram district) में मुकाबला सबसे दिलचस्प है. क्योंकि ये मुकाबला सिर्फ दो पार्टियों के बीच ही नहीं बल्कि दो भाइयों के बीच भी होने वाला है.
आपको बता दें कि दो बार के बीजेपी विधायक गिरजा शंकर शर्मा (Girja Shankar Sharma) हाल ही में बीजेपी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए हैं. सदस्यता लेने के ठीक 40 दिन बाद कांग्रेस पार्टी (congress party) ने उन्हें नर्मदापुरम विधानसभा सीट (Narmadapuram assembly seat) से अपना उम्मीदवार घोषित कर दिया.
जब गिरजा शंकर शर्मा ने बीजेपी से इस्तीफा दिया था तो उन्होंने ऐलान किया था कि अगर उन्हें टिकट मिला तो वे अपने भाई के खिलाफ चुनाव नहीं लड़ेंगे. लेकिन इससे पहले कि बीजेपी अपने उम्मीदवारों की सूची जारी करती, कांग्रेस पार्टी ने गिरजा शंकर शर्मा (Girja Shankar Sharma) को नर्मदापुरम से मैदान में उतार दिया. प्रत्याशी की घोषणा के बाद गिरजा शंकर शर्मा (Girja Shankar Sharma) ने कहा, अब पीछे हटने का सवाल ही नहीं है.
भाइयों ने 33 वर्षों तक शासन किया
नर्मदापुरम विधानसभा सीट (Narmadapuram assembly seat) पर करीब 33 साल से एक ही परिवार यानी शर्मा बंधुओं का कब्जा है. डॉ. सीताशरन शर्मा 1990, 1993 और 1998 में नर्मदापुरम सीट से विधायक रहे। 2003 में बीजेपी पार्टी ने डॉ सीतासरन शर्मा का टिकट काटकर उनके बड़े भाई गिरजा शंकर शर्मा को चुनाव लड़ने के लिए टिकट दिया.
गिरजा शंकर शर्मा 2003 और 2008 में दो बार बीजेपी विधायक रहे. इसके बाद 2013 में एक बार फिर गिरजा शंकर शर्मा का टिकट काट दिया गया और उनके छोटे भाई डॉ सीतासरन शर्मा को टिकट दे दिया गया. 2013 के चुनाव में डॉ. सीतासरन शर्मा जीते और विधानसभा अध्यक्ष बने। 2018 का चुनाव भी उन्होंने जीता.